Rashtriya Gokul Mission, राष्ट्रीय गोकुल मिशन क्या है, जानें इसके उद्देश्य के बारे में

safalta expert Published by: Chanchal Singh Updated Wed, 14 Dec 2022 02:53 PM IST

Highlights

राष्ट्रीय गोकुल मिशन योजना के अंतर्गत सरकार देशी नस्लों को बढ़ावा देने के अलावा कई अन्य उद्देश्य के ऊपर काम कर रही है।

Rashtriya Gokul Mission : राष्ट्रीय गोकुल मिशन के तहत पशुपालन एवं डेयरी विभाग ने वैज्ञानिक एवं समग्र तरीके से स्वदेशी गौजातीय नस्लों के संरक्षण एवं विकास के उद्देश्य से 16 गोकुल ग्राम स्थापित करने के लिए धन इकट्ठा किया गया है, राष्ट्रीय गोकुल मिशन के कार्यान्वयन एवं भारत सरकार द्वारा किए गए उपायों के कारण देश में दूध उत्पादन  2014 -2015 में 146.31 मिलियनसे बढ़कर 2021-22 में 220.78 मिलियन टन हो गया है, जो कि पिछले 8 सालों के दौरान तीन परसेंट की बढ़ोतरी हुई है 2021 के उत्पादन का मूल्य से अधिक है जो सभी एग्रीकलचर प्रोडक्ट से सबसे अधिक है। गेहूं एवं धान के सहयोग से भी अधिक, दूध का उत्पादन रहा है। दूध की बढ़ती मांग को पूरा करने एवं देश के ग्रामीण किसानों को अधिक लाभ देने के लिए गोकुल योजना एवं गोवंश की उत्पादकता को बढ़ाने में महत्वपूर्ण भूमिका निभा रही है। योजना स्वदेशी नस्लों के कुलीन पशुओं के गुणन एवं स्वदेशी स्टॉक की उपलब्धता में बढ़ोतरी की ओर अग्रसर हैं राष्ट्रीय गोकुल मिशन की जानकारी केंद्रीय मत्स्य पालन, पशुपालन एवं डेयरी मंत्री पुरुषोत्म रूपाला ने लोकसभा मं दी है।  अगर आप प्रतियोगी परीक्षाओं की तैयारी कर रहे हैं और विशेषज्ञ मार्गदर्शन की तलाश कर रहे हैं, तो आप हमारे जनरल अवेयरनेस ई बुक डाउनलोड कर सकते हैं   FREE GK EBook- Download Now. / सभी प्रतियोगी परीक्षाओं की तैयारी के लिए इस ऐप से करें फ्री में प्रिपरेशन - Safalta Application

Source: safalta


राष्ट्रीय गोकुल मिशन के बारे में


भारतीय किसानों के पास खेती किसानी के अलावा आमदनी का दूसरा सबसे बड़ा जरिया पशुपालन है। इसे बढ़ावा देने के लिए केंद्र सरकार के पशुपालन एवं डेयरी विभाग की ओर से कई योजनाएं चलाई जा रही है। केंद्र सरकार साल 2014 में 2025 करोड़ रुपए के बजट के साथ राष्ट्रीय गोकुल मिशन की शुरुआत की थी, जिससे स्वदेशी गोजातीय नस्लों का डेवलपमेंट और संरक्षण किया जा सके और किसानों की आमदनी को बढ़ाया जा सके। पिछले कुछ सालों में किसानों के बीच विदेशी नस्ल के मवेशियों को पालने की आदत और तादात बढ़ी है, लेकिन  एक्सपर्ट का कहना है कि विदेशी पशु भारत के जलवायु के परिवर्तन और हिसाब में सामंजस्य नहीं बिठा पा रहे हैं ऐसे में इनका पालन करना किसानों के लिए बेहतर ऑप्शन नहीं है। किसानों को देसी पशु पालन करना चाहिए, पशुपालन एवं डेयरी विभाग के मुताबिक भारत 80 परसेंट मवेशी स्वदेशी और गैर वर्णित नस्ल के  शामिल हैं।   Free Daily Current Affair Quiz-Attempt Now with exciting prize

Free Demo Classes

Register here for Free Demo Classes


गोकुल मिशन योजना का उद्देश्य क्या है 


राष्ट्रीय गोकुल मिशन योजना के अंतर्गत सरकार देशी नस्लों को बढ़ावा देने के अलावा कई अन्य उद्देश्य के ऊपर काम कर रही है। सरकार इस योजना के अंतर्गत किसानों को वह सभी सुविधाएं देने के लिए प्रयास कर रही है, जिससे उन्हें पशुपालन करने में सरलता हो और उसका फायदा उठाकर अपनी आय बढ़ा सकें।   GK Capsule Free pdf - Download here
  • स्वदेशी नस्ल के विकास एवं संरक्षण 
  • स्वदेशी नस्लों के लिए नस्ल सुधार कार्यक्रम का आयोजन ताकि जैनेटिक संरचना में सुधार हो और देशी पशुओं की संख्या में बढ़ोतरी हो।
  • रोगमुक्त अनुवांशिक गुण वाली मादा आबादी को बढ़ाकर मवेशियों के बीच हो रही रोगों के प्रसार को कंट्रोल करना।
  •  दुध के प्रोडक्शन में बढ़ोतरी करना।
  • गिर, साहीवाल, राठी, देओनी, थारपरकर, लाल सिंधी जैसे उत्कृष्ट स्वदेशी नस्लों का उपयोग करके गायों का विकास करना।
  •  प्राकृतिक सेवा के लिए रोग मुक्त उच्च आनुवंशिक गुणता वाले बैलों का वितरण।
  • गायों एवं भैंसो के गुणवत्ता पूर्ण कृत्रिम गर्भाधान सेवाओं की व्यवस्था करवाना।
  • प्रजनकों और किसानों को जोड़ने के लिए के लिए बोवाइन जर्मप्लाज्म के लिए ईन- मार्केट पोर्टल बनाना।
  •  पशुधन एवं पशु प्रोडक्ट के  व्यापार में वृद्धि और किसानों की आमदनी को बढ़ाने के लिए प्रयास करना।


 पशुपालन क्षेत्र में उत्कृष्ट कार्यों के लिए दिए जाने वाले पुरस्कार 


 किसान पशुपालन में अधिक से अधिक देसी नस्लों को मह्तव दिया जा रहा है। जिसके लिए सरकार की तरफ से प्रोजेक्ट के अलावा पुरस्कार दिए जाने का भी प्रावधान बनाया गया है। इसके लिए पशुपालन एवं डेयरी विभाग हर साल पहले दूसरे तीसरे स्थान पर गोपाल रत्न एवं कामधेनु पुरस्कार से किसानों को सम्मानित करता है, जहां  गोपाल रत्न पुरस्कार  देश में किसानों द्वारा गोपालन एवं स्वदेशी नस्लों के पशुपालन के सर्वश्रेष्ठ कार्य करने पर किसानों को यह पुरस्कार दिया जाता है। कामधेनु पुरस्कार गोशालाओं एवं सर्वोत्तम प्रबंधित ब्रीडर्स सोसाइटी को दिया जाता है। इस मिशन के अंतर्गत साल 2017 - 2018 से अब तक 22 गोपालन रत्न एवं 21 कामधेनु पुरस्कार किसानों को दिए जा चुके हैं।

सभी प्रतियोगी परीक्षाओं की तैयारी के लिए इन करंट अफेयर को डाउनलोड करें
November Current Affair E-Book  DOWNLOAD NOW
October Current Affairs E-book DOWNLOAD NOW
September Month Current affair DOWNLOAD NOW
August  Month Current Affairs 2022 डाउनलोड नाउ
Monthly Current Affairs July 2022 डाउनलोड नाउ
               

Related Article

Nepali Student Suicide Row: Students fear returning to KIIT campus; read details here

Read More

NEET MDS 2025 Registration begins at natboard.edu.in; Apply till March 10, Check the eligibility and steps to apply here

Read More

NEET MDS 2025: नीट एमडीएस के लिए आवेदन शुरू, 10 मार्च से पहले कर लें पंजीकरण; 19 अप्रैल को होगी परीक्षा

Read More

UPSC CSE 2025: यूपीएससी सिविल सेवा परीक्षा के लिए आवेदन करने की अंतिम तिथि बढ़ी, इस तारीख तक भर सकेंगे फॉर्म

Read More

UPSC further extends last date to apply for civil services prelims exam till Feb 21; read details here

Read More

Jhakhand: CM launches six portals to modernise state's education system

Read More

PPC 2025: आठवें और अंतिम एपिसोड में शामिल रहें यूपीएससी, सीबीएससी के टॉपर्स, रिवीजन के लिए साझा किए टिप्स

Read More

RRB Ministerial, Isolated Recruitment Application Deadline extended; Apply till 21 February now, Read here

Read More

RRB JE CBT 2 Exam Date: आरआरबी जेई सीबीटी-2 की संभावित परीक्षा तिथियां घोषित, 18799 पदों पर होगी भर्ती

Read More